फर्जी कैफे टियर 1 और मेट्रो शहरों को लक्ष्य करते हुए अगले 12 महीनों में 12 नई फ्रैंचाइजी शुरु करेगा।
2014 में मसाला लाइब्रेरी बाय जिग्स कालरा, पपाया, मसाला बार और मेड इन पंजाब जैसी बढ़िया खाने के लिए नवाजी गई जगहों के निर्माताओं द्वारा फर्जी कैफे शुरु किया गया था। भारतीय खाद्य पदार्थों को फिर से लोकप्रियता दिलाने का सपना देखने वाले जोरावर कालरा की सोच से बना फर्जी कैफे अपने खान-पान से एक ‘मोहमयी दुनिया’ बनाने का दावा करता है। फर्जी कैफे में खाने का आनंद लेना यानि एक अद्भुत अनुभव कहा जा सकता है। यूं कहा जाए कि फर्जी कैफे आज के जमाने की भोजन के बारे में जो सोच है, उसके नए पहलुओं को इजाद किया है और उसे समकालीन बनाया है। वह सिर्फ खाना नहीं है, बल्कि परम्परागत वैश्विक खान-पान का क्षेत्रीय प्रभावों, स्थानीय स्वादों, कुशल तकनीकों और समकालीन पाक-कला पद्धतियों से मिलाप करते हुए एक ऊर्जावान माहौल पेश किया जाता है। “फर्जी कैफे आपको एक विचित्र और फिर भी विलासी अनुभव देता है, जिसमें आप ताजे से ताजे पदार्थों और सर्वोत्कृष्ट पाक-कला तकनीकों से बनाए गए स्वादिष्ट भोजन का आनंद लेते हुए अपने अपने मित्रों के साथ बतिया सकते हैं या फिर यूं ही आपकी रोजमर्रा की जिंदगी के पागलपन से दूर समय बिता सकते हैं,” मैसिव रेस्टोरेंट के संस्थापक और प्रबंध निदेशक जोरावर कालरा बताते हैं।
फ्रैंचाइजी नेटवर्क
फ्रैंचाइजी के बारे में कुछ तथ्य
स्टोर्स की संख्या - 6 (कंपनी की खुद की + फ्रैंचाइजी)
आवश्यक निवेश - 6 करोड़ (भारत में स्टोर शुरु करने के लिए)
आवश्यक क्षेत्र - 5000 स्क्वे. फी.
अपेक्षित ROI - 30%
अपेक्षित ब्रेक-ईवन - स्टोर की शुरुआत से ही ब्रेक-ईवन अपेक्षित है
स्थान-प्रमुखता - मेट्रो 7, टियर 1
Business Opportunities
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